प्राइमरी का मास्टर ● इन |
- यूपी बोर्ड: परीक्षाफल तैयार करने के लिए आये साढ़े तीन हजार सुझाव, बोर्ड जुटा मंथन में
- स्नातक के बाद सीधे कर सकेंगे पीएचडी, नई शिक्षा नीति लागू करने की कवायद शुरू
- उच्च शिक्षा की ओर बढ़ रहा रुझान पर पढ़ाने वाले हो रहे कम
- 2012 में आवेदन करने वालों ने मांगी नियुक्ति, रिक्त पदों को 72825 शिक्षक भर्ती के आवेदकों से ही भरें
यूपी बोर्ड: परीक्षाफल तैयार करने के लिए आये साढ़े तीन हजार सुझाव, बोर्ड जुटा मंथन में Posted: 10 Jun 2021 07:08 PM PDT यूपी बोर्ड: परीक्षाफल तैयार करने के लिए आये साढ़े तीन हजार सुझाव, बोर्ड जुटा मंथन में प्रयागराज : यूपी बोर्ड की हाईस्कूल व इंटरमीडिएट परीक्षा 2021 के लिए पंजीकृत अभ्यर्थियों का रिजल्ट तैयार करने के लिए साढ़े तीन हजार लोगों ने सुझाव भेजा है। बोर्ड अब इन्हें खंगालेगा और उपयोगी सुझावों को बन रहे फामरूले में शामिल करेगा। ज्ञात हो कि मुख्यमंत्री ने दोनों के सभी 56 लाख से अधिक परीक्षार्थियों को प्रोन्नत करने का निर्णय लिया है। उसी का फामरूला तैयार करने की प्रक्रिया प्रयागराज से लेकर लखनऊ तक चल रही है। माध्यमिक शिक्षा परिषद (यूपी बोर्ड) पहली बार कोरोना संक्रमण की वजह से हाईस्कूल व इंटरमीडिएट परीक्षाएं रद कर चुका है। दोनों अहम परीक्षाओं के लिए पंजीकृत छात्र-छात्रओं को सर्वमान्य अंक देकर प्रोन्नत करना बड़ी चुनौती है। इसके लिए माध्यमिक शिक्षा की अपर मुख्य सचिव आराधना शुक्ला की अध्यक्षता में कमेटी बनाई जा चुकी है, वहीं वीडियो कान्फ्रेंसिंग करके प्रधानाचार्य व शिक्षाविदों की राय ली गई है। बोर्ड सचिव दिव्यकांत शुक्ल ने भी दो दिन पहले ईमेल जारी करके कहा था कि प्रधानाचार्य, शिक्षक, परीक्षार्थी, अभिभावक व अन्य बोर्ड के हितसाधक रिजल्ट तैयार करने के सुझाव भेज सकते हैं। बोर्ड के ईमेल पर शुक्रवार अपराह्न् दो बजे तक करीब साढ़े तीन हजार सुझाव मिले हैं, ये समाज के सभी वर्गो के हैं। अब इन पर कमेटी चर्चा करेगी और जो उपयोगी होंेगे उन्हें फामरूले में जगह दी जाएगी। उपमुख्यमंत्री डा. दिनेश शर्मा पहले ही कह चुके हैं जिन परीक्षार्थियों की पिछली परीक्षाओं के अंक बोर्ड को नहीं मिल सके हैं उन्हें सामान्य रूप से प्रमोट किया जाएगा, बाकी को अंक देकर प्रोन्नत किया जाएगा। अब जुलाई में ही परिणाम जारी होने के आसार हैं। परीक्षा संस्थाओं की भी जानी राय शासन के अफसरों ने प्रतियोगी परीक्षा कराने वाली संस्थाओं से भी हाईस्कूल व इंटर के अंकों को लेकर मंथन किया है। अफसरों ने यह जानना चाहा कि छात्र या छात्र को मिले अंक प्रतियोगी परीक्षा में कितने अहम होते हैं? कई ऐसी परीक्षाएं हैं जिनमें लिखित परीक्षा परिणाम के आधार पर अभ्यर्थियों का चयन नहीं हो पाता, बल्कि अंतिम चयन के लिए संस्थानों को हाईस्कूल, इंटर व अन्य परीक्षाओं के अंकों के आधार पर मेरिट बनानी पड़ती है। |
स्नातक के बाद सीधे कर सकेंगे पीएचडी, नई शिक्षा नीति लागू करने की कवायद शुरू Posted: 10 Jun 2021 07:05 PM PDT स्नातक के बाद सीधे कर सकेंगे पीएचडी, नई शिक्षा नीति लागू करने की कवायद शुरू प्रयागराज : इविवि में नई शिक्षा नीति लागू करने की कवायद शुरू हो गई है। अब चार वर्ष स्नातक की पढ़ाई करने के बाद छात्र-छात्रएं बगैर परास्नातक की पढ़ाई किए पीएचडी में प्रवेश ले सकेंगे। हालांकि, यह व्यवस्था सत्र 2023 से प्रभावी होगी। इविवि की कुलपति प्रोफेसर संगीता श्रीवास्तव की अध्यक्षता में गुरुवार को संकायों के डीन, विभागाध्यक्ष व सभी सेंटर के निदेशक के साथ ऑनलाइन बैठक हुई। बैठक में नई शिक्षा नीति लागू करने के अलावा अन्य कई मसलों पर चर्चा हुई। सहायक जनसंपर्क अधिकारी डॉ. चित्तरंजन कुमार ने बताया कि सत्र 2023 से देश के सभी विवि में नई शिक्षा नीति लागू की जानी है। कुलपति ने निर्देश दिया कि वे नई शिक्षा नीति के अनुसार अगले 15 दिनों में अपने विषय के पाठ्यक्रम का प्रारूप तैयार करें। 25 जून को इस विषय पर फिर से बैठक होगी। 25 जून को होने वाली बैठक में सारे विभागाध्यक्ष कुलपति के समक्ष विषय के पाठ्यक्रम का प्रस्तुतिकरण करेंगे। अब बीए, बीकॉम, बीएससी जैसे स्नातक स्तर के विद्यार्थी नेशनल कैडेट कोर (एनसीसी) को वैकल्पिक विषय के रूप में ले सकते हैं। कुलपति ने प्रोफेसर पीके घोष की अध्यक्षता में कमेटी गठित जो निर्णय करेगी कि एनसीसी को पाठ्यक्रम में कैसे लागू किया जाए। |
उच्च शिक्षा की ओर बढ़ रहा रुझान पर पढ़ाने वाले हो रहे कम Posted: 10 Jun 2021 06:50 PM PDT उच्च शिक्षा की ओर बढ़ रहा रुझान पर पढ़ाने वाले हो रहे कम नई दिल्ली: उच्च शिक्षा की ओर छात्रों का रुझान तेजी से बढ़ रहा है। पिछले पांच साल में उच्च शिक्षा के लिए नामांकन में 11.4 फीसद की बढ़ोतरी हुई है। इसके साथ ही उच्च शिक्षा में छात्रों की सकल नामांकन दर (जीईआर) बढ़कर अब 27.1 फीसद हो गई है। हालांकि इस दौरान उच्च शिक्षण संस्थानों में शिक्षकों की कम होती संख्या चिंता बढ़ाने वाली है क्योंकि इससे शैक्षणिक गुणवत्ता पर असर पड़ेगा। उच्च शिक्षा को लेकर ये तथ्य गुरुवार को केंद्रीय शिक्षा मंत्रलय की ओर से जारी अखिल भारतीय उच्च शिक्षा सर्वेक्षण (एआइएसएचई) की 2019-20 की रिपोर्ट में सामने आए हैं। रिपोर्ट के मुताबिक, वर्ष 2014-15 में उच्च शिक्षा की सकल नामांकन दर 24.3 फीसद थी, जो वर्ष 2019-20 में बढ़कर 27.1 फीसद हो गई है। इसके साथ ही उच्च शिक्षा में छात्रों की कुल नामांकन संख्या बढ़कर 3.85 करोड़ हो गई है। बीबीए, एलएलबी में बढ़ा रुझान, बीटेक में गिरावट सर्वेक्षण रिपोर्ट 2019-20 के मुताबिक, पहले के मुकाबले बीबीए, बीएड और एलएलबी जैसे प्रोफेशनल पाठ्यक्रमों ने छात्रों को कुछ ज्यादा आकर्षित किया है। एमबीए करने वाले छात्रों की संख्या 2014-15 में 3.49 लाख थी, जो 19-20 में 5.28 लाख हो गई। इसी तरह बीएड के छात्रों की संख्या 2014-15 में 5.14 लाख थी, जो वर्ष 2019-20 में 13.16 लाख हो गई है। |
2012 में आवेदन करने वालों ने मांगी नियुक्ति, रिक्त पदों को 72825 शिक्षक भर्ती के आवेदकों से ही भरें Posted: 10 Jun 2021 06:36 PM PDT 2012 में आवेदन करने वालों ने मांगी नियुक्ति, रिक्त पदों को 72825 शिक्षक भर्ती के आवेदकों से ही भरें प्रयागराज। प्रदेश सरकार की ओर से परिषदीय विद्यालयों में 2011 में पहली बार 72825 पदों पर शिक्षक भर्ती की घोषणा की गई, प्रदेश सरकारों को आपसी रार के चलते 2012 में पूर्व की भर्ती की जगह उतने हो पदों पर भर्ती दोबारा घोषित की गई। कोर्ट की दखल के बाद 2011 में घोषित भर्ती ही पूरी हो पाई। अब 2012 में 72825 शिक्षक भर्ती में आवेदन करने वालों और 2011 में टीईटी पास करने वालों ने सरकार से टीईटी आजीवन मान्य किए जाने के बाद नियुक्ति मांगी है। इस शिक्षक भर्ती के लिए आवेदन करने वाले अभ्यर्थियों का नेतृत्व करने वाले सुनील कुमार यादव कहना है कि सरकार को खाली पदों को 2012 में आवेदन करने वालों से भरना चाहिए। 2011 में पहली बार टीईटी कराए जाने के बाद उस समय की बसपा सरकार की ओर से 72825 शिक्षक पदों की भर्ती की घोषणा की गई थी। इस भर्ती के खिलाफ कुछ अभ्यर्थी कोर्ट चले गए, उन्होंने एकेडमिक मेरिट के आधार पर भती की मांग tat इस बीच प्रदेश में सपा की नई सरकार आ गई। नई सरकार ने पूर्व की सरकार की भर्ती को निरस्त करने के साथ 2012 में 72825 पदों पर नई शिक्षक भर्ती घोषित कर दी। इस बीच 2012 में भी 72825 शिक्षक भर्ती के लिए आवेदन प्रक्रिया पूरी हो गई। अब 2012 में आबेदन करने वालों ने भी नियुक्ति देने की मांग की है। |
You are subscribed to email updates from प्राइमरी का मास्टर ● इन | Primary Ka Master | District News | Basic Shiksha | Shikshamitra. To stop receiving these emails, you may unsubscribe now. | Email delivery powered by Google |
Google, 1600 Amphitheatre Parkway, Mountain View, CA 94043, United States |